हम रोज़मर्रा में कई बार ऐसी स्थितियों का सामना करते हैं जहाँ आँखें झटके या चोट के शिकार हो सकती हैं। खेल‑कूद, रसोई में तेज़ चीज़ें छूटना या अचानक धूप में चश्मा टूट जाना – इन सब से आँखे घायल हो जाती हैं। अगर आप भी कभी ऐसी स्थिति में फँसे हों तो पढ़िए ये आसान कदम, जिससे दर्द कम हो और आगे की समस्या न बनें।
सबसे आम कारण होते हैं:
इनमें से कोई भी कारण हो, शुरुआती देखभाल बहुत महत्वपूर्ण होती है। जल्दी सही कदम उठाने से अक्सर गंभीर समस्या टाली जा सकती है।
1. आँख को न रगड़ें: चोट लगने पर पहली प्रवृत्ति रगड़ना होती है, लेकिन इससे स्थिति बिगड़ती है। झर्रियों या कणों को हटाने की कोशिश केवल डॉक्टर से ही करनी चाहिए।
2. साफ पानी से धोएँ: यदि आँख में रसायन या धूल लगी हो तो तुरंत कमरे के तापमान वाले स्वच्छ पानी से 15‑20 मिनट तक धीरे‑धीरे बहाते रहें। यह कण को हटाने और जलन कम करने में मदद करता है।
3. ठंडा सिकाई करें: सूजन कम करने के लिए साफ कपड़े में बर्फ का टुकड़ा लपेटकर 5‑10 मिनट तक आँख पर रखें। सीधे बर्फ नहीं लगाएँ, इससे फ्रीज़र बर्न हो सकता है।
4. आँख को ढँके रखें: यदि चोट गंभीर महसूस हो रही हो तो एंटीबायोटिक कवर या साफ कपड़े से आँखे को ढकें ताकि धूल न लगे और संक्रमण की संभावना कम रहे।
5. डॉक्टर के पास तुरंत जाएँ जब:
इन संकेतों पर देर न करें, क्योंकि समय पर इलाज से स्थायी नेत्र क्षति बच सकती है। डॉक्टर संभवतः एंटी‑इन्फ्लेमेटरी ड्रॉप्स, एंटीबायोटिक क्रीम या सर्जिकल जांच की सलाह दे सकते हैं।
अंत में एक छोटा ध्यान रखें: काम पर या खेलते समय हमेशा सुरक्षित चश्मा पहनें, रसायन इस्तेमाल करते समय आँखों को ढँक कर रखें और बच्चों के साथ छोटे उपकरणों से खेलने पर निगरानी रखें। इन आसान सावधानियों से आप अपनी आँखों को अनावश्यक चोट से बचा सकते हैं।
जानी मानी टीवी अभिनेत्री जैस्मिन भसीन को कॉन्टैक्ट लेंस पहनने के दौरान आंखों में दर्द हुआ, जो बाद में बड़ी तकलीफ में बदल गया। यह घटना दिल्ली में एक इवेंट के दौरान हुई। उनकी आंखों में चोट की पुष्टि डॉक्टरों ने की है और उनका मुंबई में उपचार चल रहा है।