देश में आज‑कल हर रोज़ कुछ न कुछ सुरक्षा खबर सामने आती है। अगर आप भी जानना चाहते हैं कि हाल ही में कौन‑से बड़े‑बड़े हमले हुए, तो यह टैग पेज आपके लिये सही जगह है। यहाँ पर हम प्रमुख घटनाओं, उनके कारणों और सरकार की प्रतिक्रियाओं को सरल शब्दों में समझाते हैं।
सबसे पहला ध्यान देने लायक मामला 2008 के मुंबई हमले (26/11) था, जिसमें कई स्थानों पर बम विस्फोट और गनफाइट हुए थे। इस हमले में कई लोगों की जान गई और बड़ी आर्थिक क्षति हुई। फिर आया 2024‑25 का "कठुआ" शब्द से जुड़ा एक नया हमला – मुंबई में अनिश्चितकालीन अनशन के दौरान सुरक्षा छेड़छाड़, जहाँ ट्रैफ़िक जाम और पुलिस के आदेश टूटने की खबरें आईं। इन दोनों घटनाओं ने देश भर में सुरक्षा तंत्र को फिर से जांचने का मुद्दा उठाया।
हर बड़े हमले पर केंद्र सरकार तुरंत कदम बढ़ाती है। 26/11 के बाद राष्ट्रीय आतंकवाद विरोधी एजेंसियों की ताकत बढ़ाई गई, विशेष रूप से एनएसजी और आईटीबी को अधिक अधिकार मिले। इसी तरह, हालिया मुंबई अनशन में पुलिस ने ट्रैफ़िक नियंत्रण और भीड़ प्रबंधन पर कड़े नियम लागू किए। इसके अलावा, वित्त मंत्री द्वारा 2025‑26 बजट में साइबर सुरक्षा और सीमाओं की निगरानी के लिये अतिरिक्त फंड आवंटित किया गया है।
इन कदमों का असर दिखना शुरू हो गया है। बड़े शहरों में अब कैमरा नेटवर्क बढ़ा है, और सार्वजनिक स्थानों पर सस्पेक्ट पैकेज को तुरंत जांचने वाले डिटेक्शन सिस्टम लगाए जा रहे हैं। साथ ही, नागरिकों को जागरूक बनाने के लिये नियमित प्रशिक्षण कार्यक्रम चलाए जाते हैं – जैसे कि "सुरक्षा सजगता" कैंपेन, जहाँ लोग सीखते हैं कैसे आपातकाल में सही प्रतिक्रिया दें।
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अंत में एक बात ज़रूर कहूँ: आतंकवाद का मुकाबला केवल सरकार या पुलिस से नहीं होता, आम जनता का सहयोग भी उतना ही जरूरी है। अगर आप कोई संदिग्ध गतिविधि देखेंगे तो तुरंत स्थानीय अधिकारी को सूचित करें। छोटी‑छोटी सावधानियों से बड़े हादसों को रोका जा सकता है। इस टैग पेज पर पढ़ते रहिए और खुद को तथा अपने आसपास के लोगों को सुरक्षित रखें।
जम्मू-कश्मीर के कठुआ जिले में एक आतंकवादी हमले में पांच सेना के कर्मियों की मौत हो गई और पांच अन्य घायल हो गए। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने घटना पर गहरी चिंता व्यक्त करते हुए शहीदों के बलिदान को व्यर्थ न जाने देने का आश्वासन दिया। रक्षा सचिव गिरीधर अरमने ने शहीदों के परिवारों को अपनी सांत्वना व्यक्त की। सोमवार को बडनोता क्षेत्र में हुए इस हमले के बाद एक विशाल खोज अभियान शुरू किया गया है।